प्रधान मंत्री ने आज video Conferencing के माध्यम से उत्तराखंड राज्य सरकार के साथ केदारनाथ धाम के विकास और पुनर्निर्माण परियोजना की समीक्षा की। पीएम मोदी ने केदारनाथ मन्दिर परिसर, आदिगुरू शंकराचार्य की समाधि, सरस्वती घाट पर बने पुल, केदारनाथ में बन रही गुफाओं, मन्दाकिनी नदी पर बन रहे पुल तथा मंदाकिनी एवं सरस्वती के संगम पर बन रहे घाटों का अवलोकन किया।
धर्मस्थल के पुनर्निर्माण के लिए अपना दृष्टिकोण रखते हुए, प्रधान मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार को केदारनाथ और बद्रीनाथ जैसे पवित्र स्थलों के लिए विकास परियोजनाओं की कल्पना करना और डिजाइन करना चाहिए, जो समय की कसौटी पर खड़ा हो और अभी तक पर्यावरण के अनुकूल हो।
विशिष्ट सुझावों के भाग के रूप में, प्रधान मंत्री ने अन्य विरासत और धार्मिक स्थलों के विकास के लिए भी निर्देश दिए, जो रामबन से केदारनाथ तक फैले हुए हैं। यह कार्य केदारनाथ में मुख्य तीर्थ के पुन: विकास के अतिरिक्त होगा।
बैठक में ब्रह्म कमल वाटिका (उद्यान) के विकास की स्थिति और वासुकी ताल के लिए तीर्थयात्रियों के मार्ग, संग्रहालय, पुराने शहर के क्वार्टरों के पुन: विकास और ऐतिहासिक महत्व के गुणों को उनके मूल स्थापत्य को ध्यान में रखते हुए विस्तृत चर्चा हुई। धर्मस्थल से उचित दूरी पर और नियमित अंतराल पर Eco-Friendly Parking Space जैसी अन्य सुविधाएं।
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र सिंह रावत और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने भी चर्चा में भाग लिया।